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Thursday, November 25, 2010

लगा बिहार में दाग छुपावुं कैसे बिहार जावूँ कैसे. चुनाव

लागा चुनरी में दाग छुपाऊँ कैसे  
चुनरी में दाग छुपाऊँ कैसे घर जाऊँ कैसे
हो गयी मैली मोरी चुनरिया कोरे बदन सी कोरी चुनरिया
जाके बाबुल से नजरें मिलाऊँ कैसे घर जाऊँ कैसे
 लगा बिहार में दाग छुपावुं कैसे बिहार जावूँ कैसे. चुनाव जितना ये काम मिडिया के सामने प्लास्टिक घमेले में प्लास्टिक पत्थर रखकर सफ़ेद कपडे को मिटटी का दाग भी न लगाते शूटिग कराने इतना आसन काम नही. ये राहुल जान गये होंगे.

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